अनंतनाग में एनकाउंटर क्यों नहीं ख़त्म हो पा रहा है?

भारत प्रशासित कश्मीर के अनंतनाग में बीते पांच दिनों से भारतीय सेना और चरमपंथियों के बीच एनकाउंटर जारी है. इस एनकाउंटर में सेना के कर्नल, मेजर और पुलिस के डीएसपी समेत चार लोगों की मौत हो चुकी है.

 

भारतीय सेना की नॉर्दर्न कमांड ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर भी ये जानकारी दी है. एनकाउंटर स्थल के पास लेफ्टिनेंट जनरल उपेंद्र द्विवेदी की अधिकारियों के साथ जायज़ा लेते हुए तस्वीरें पोस्ट की गई हैं.

एक वरिष्ठ अधिकारी ने अख़बार से कहा है, “ऑपरेशन अंतिम स्टेज में है और जल्द ही सकारात्मक ख़बर मिलेगी.”

इलाक़े में भारी बारिश के बीच शनिवार को भी ये अभियान जारी रहा.

एंटी टेरर स्क्वॉड ने चरमपंथियों के छिपने के ठिकाने पर कई तरह के हथियारों से हमला किया. इनमें कार्ल-गुस्ताफ़ एम4 वेपन सिस्टम भी शामिल है. इसके अलावा अंडर बेरल-ग्रेनेड लांचर भी इस्तेमाल किए गए.

इस एनकाउंटर में घायल दो सैनिक अस्पताल में भर्ती हैं, एक की टांग में गोली लगी है जबकि दूसरा चढ़ाई करते हुए गिर गया था.

पुलिस को शक है कि घिरे हुए चरमपंथियों में से एक उज़ैर ख़ान है, जो इस इलाक़े से अच्छी तरह से वाक़िफ़ है. माना जाता है कि उज़ैर एक साल पहले ही लश्कर-ए-तैयबा में शामिल हुआ है और बहुत जल्द ही कमांडर बन गया.

हिंदुस्तान टाइम्स की रिपोर्ट के मुताबिक़ इस ऑपरेशन में सेना के विशेषज्ञ जवानों को भी तैनात किया गया है. इनमें स्पेशल फ़ोर्सेज़, जम्मू-कश्मीर पुलिस की काउंट टेरर यूनिट के विशेषज्ञ भी शामिल हैं.

सेना और पुलिस ने चरमपंथियों के छिपे होने के बारे में जानकारी मिलने पर मंगलवार को साझा अभियान शुरू किया था.

अंग्रेज़ी अख़बार डीएनए की रिपोर्ट के मुताबिक़ मौसम, स्थानीय भोगौलिक स्थिति और अनिश्चित भूभाग की वजह से ये एनकाउंटर लंबा खिंच रहा है.

भारतीय सेना के जवानों को मुश्किल चढ़ाई करके आगे बढ़ना पड़ रहा है. इसके एक तरफ़ घना जंगल है और दूसरी तरफ़ गहरी खाई.

लगातार हो रही बारिश की वजह से रास्ते पर फिसलन है और विज़िबिलिटी भी कम है. बारिश की वजह से सेना के ड्रोन भी सटीक जानकारी नहीं जुटा पा रहे हैं.

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *